Lyrics

मन में कहते रहे वो जो कहना है तुमसे कभी ये पल मिला तो कह दूँ तुम्हें सब अभी कि देख जो तुम्हें, तो देखते रहे मन भरता नहीं चेहरे से तेरे नज़रें हटाने का दिल करता नहीं जो साथ हो तेरा तो दर्द फिर मेरा टिकता नहीं है क़ुर्बत कोई कि दूर जाने का दिल करता नहीं ये कैसी आँखें तेरी! ठहर जाएं हम इनपे ये कैसी बातें तेरी! बहक जाएं हम इनसे तुमसे बातें करते रहें हम और ये शाम ढ़लती रही ये कैसे निशां! ये कैसे कदम! जो बढ़ते रहे, तेरी ओर सनम जाएं जिधर दिखते हो तुम सुनते तुम्हें जैसे मीठी सी घुन जो तुम हो इधर, तो तेरे सिवा कुछ दिखता नहीं गये तुम किधर? कि तेरे बिना मन लगता नहीं है कैसा नशा! तेरे प्यार का जो मिटता नहीं ये कैसे कहूँ! कि तुमसे मेरा मन हटता नहीं ये कैसी आँखें तेरी! ठहर जाएं हम इनपे ये कैसी बातें तेरी! बहक जाएं हम इनसे तुमसे बातें करते रहें हम और ये शाम ढ़लती रही ढ़लती रही ढ़लती रही
Lyrics powered by www.musixmatch.com
instagramSharePathic_arrow_out